
कैलाश खेर।
देश के चर्चित टीवी शो ‘आप की अदालत’ में इस बार गायक और संगीतकार कैलाश खेर पहुंछे। शो के दौरान रजत शर्मा के तीखे सवालों का बेबाकी से जवाब देते हुए कैलाश खेर ने अपने जीवन के कई अनकहे और भावुक पहलुओं को सुलझे हुए तरीके से सबके सामने पेश किया। उन्होंने बताया कि बॉलीवुड में सफलता पाने का उनका सफर आसान नहीं था। हर कदम पर उन्हें संघर्ष करना पड़ा। कई असफलताओं के बाद कामयाबी उनके कदम चूमी। वैसे ये हर कोई जानता है कि कैलाश शिव उपासक हैं और कई गाने भी गा चुके हैं, लेकिन फिर भी उनके शुरआती गाने में अल्लाह का जिक्र आया था।
आरोप का दिया ऐसा जवाब
इसी से जुड़ा सवाल दर्शक ने उनसे पूछ, ‘आप शिव उपासक हैं, फिर भी आपके गाने में अल्लाह आते हैं, क्यों?’ इसके जवाब में कैलाश खेर ने कहा, ‘वही सब मतलब यह खेल दाता रचते हैं। मैं इसलिए हैरान होता हूं कि मेरे परमात्मा बहुत रूप बदल कर आते हैं तो यही हुआ कि उन्होंने गाना भी दिया तो यह अल्लाह के बंदे दिया और यह हिट हुआ। और उसके बाद जिन्होंने रिजेक्ट किया था उनकी मति घुमाई और उनको बोला कि जाओ मेरा बालक वहां तैयार हो रहा है।’
‘तेरी दीवानी’ का किया जिक्र
इसी बात को आगे बढ़ाते हुए उन्होंने कहा, ‘अब उसका एल्बम रिलीज करो। जब वह एल्बम रिलीज हुआ। एल्बम में पहला गाना तो तेरी दीवानी बना, लेकिन अल्लाह के बंदे भी उन्होंने उसका भी एक वर्जन उसमें डाला था। उसको हम अनप्लग्ड कहते हैं। वह भी आपने सुना होगा। कैलासा एल्बम में तो इस तरह से हुआ साहब।’
कैसे मिलने लगे गाने
इसी दौरान कैलाश खेर ने अपने कई गानों की लाइनें भी गुनगुनाई और बताया कि उनका जीवन मुश्किलों से भरा रहा, लेकिन उनका हौसला नहीं टूटा। उन्होंने ये भी कहा कि उन्हें उनके करियर का पहला गाना उस म्यूजिक कंपोजर ने दिया जिसने उन्हें रिजेक्ट किया था। ये कोई और नहीं बल्कि विशाल-शेखर थे। इसके अलावा उन्होंने बताया कि वो गानों से पहले जिंगल गाया करते थे।
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