
कौन है ये हसीना?
बॉलीवुड में कई अभिनेता और अभिनेत्रियों ने धार्मिक बाधाओं को पार कर उस शख्स को अपना जीवनसाथी बनाया, जिसे वह दिलों-जान से चाहते हैं। सोनाक्षी सिन्हा ने जून 2024 में जहीर इकबाल को अपना जीवनसाथी चुना, जिसे लेकर वह ट्रोल्स के निशाने पर भी रहीं। दोनों की शादी 2024 का हॉट टॉपिक रही। सोनाक्षी-जहीर के अलावा भी इंडस्ट्री में कई स्टार्स ने इंटरफेथ वेडिंग की है। इनमें से कुछ सेलेब्स अपने साथी के धर्म को अपनाते हैं, जबकि कुछ अपने रीति-रिवाजों, परंपराओं और मान्यताओं का पालन करना पसंद करते हैं। लेकिन, आज हम एक आपको एक ऐसी अभिनेत्री के बारे में बताएंगे, जिनका जन्म तो हिंदू परिवार में हुआ, उन्होंने शादी मुस्लिम व्यक्ति से शादी की, लेकिन वह ईसाई धर्म को मानती हैं।
कौन है वो एक्ट्रेस?
हम बात कर रहे हैं बॉलीवुड की आइकॉनिक एक्ट्रेस करीना कपूर खान की। करीना कपूर बॉलीवुड की हाईएस्ट पेड एक्ट्रेसेस में से हैं, जिनका जन्म इंडस्ट्री के सबसे चर्चित खानदान, कपूर खानदान में हुआ। करीना एक हिंदू पंजाबी परिवार से आती हैं और लाखों दिलों पर राज करती हैं। उन्होंने बड़े पर्दे पर ‘पू’ से लेकर ‘गीत’ तक कई आइकॉनिक किरदार निभाए हैं और 44 साल की उम्र में भी उनकी खूबसूरती और अंदाज का कोई जवाब नहीं है।
करीना कपूर ने 2012 में की थी सैफ अली खान से शादी
करीना कपूर ने साल 2012 में खुद से 10 साल बड़े बॉलीवुड अभिनेता सैफ अली खान को अपना जीवनसाथी बनाया। अपने एक फैसले से बेबो ने सबको हैरान कर दिया था। शादी के चार साल बाद 2016 में करीना ने बेटे तैमूर को जन्म दिया और फरवरी 2023 में छोटे बेटे जेह का इस दुनिया में स्वागत किया। लेकिन, करीना खुद इसका खुलासा कर चुकी हैं कि भले ही उनका जन्म एक हिंदू पंजाबी परिवार में हुआ है और शादी एक मुस्लिम एक्टर से हुई है, इसके बाद भी वह ईसाई धर्म को फॉलो करती हैं।
ईसाई धर्म को मानती हैं करीना
करीना कपूर का जन्म रणधीर कपूर और बबीता कपूर के घर हुआ था। रणधीर कपूर एक पारंपरिक पंजाबी परिवार से थे, जबकि बबीता का झुकाव हमेशा ईसाई धर्म की ओर रहा क्योंकि उनकी मां एक ब्रिटिश क्रिश्चियन थीं। अपनी मां को देखते हुए करीना ने भी ईसाई धर्म से भी नाता जोड़ लिया। इसका खुलासा उनके बेटे तैमूर की पूर्व नैनी ललिता डिसिल्वा ने किया था।
क्या बोलीं ललिता डिसिल्वा?
पिंकविला से बातचीत के दौरान ललिता ने कहा था – ‘करीना कपूर ईसाई धर्म को मानती हैं। लेकिन, मुझे कहती थीं कि ‘आपको अच्छा लगता है भजन लगाना है तो आप भजन लगाइए।’ मैं उनके (तैूमर और जेह) लिए भजन बजाती थी। फिर वह (करीना) कहती थी कि पंजाबी भजन, इक ओंकार, वह उसी को फॉलो करती थीं, तो वो लगा देते थे। क्योंकि वह जानती हैं कि ये पॉजिटिविटी होनी जरूरी होती है बच्चों के आस-पास। ठीक है ये आपकी चॉइस होती है… लेकिन बच्चों को अगर शुरुआत से पॉजिटिव वाइव्स से घेरे रखो तो वो पॉजिटिविटी उनमें अपने आप आ जाती है।’
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